पूर्व राज्यपाल कुरैशी का निधन

पूर्व राज्यपाल कुरैशी का निधन

देहरादून। Former Governor Qureshi passes away उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और मिजोरम के राज्यपाल रहे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अजीज कुरैशी का लंबी बीमारी के बाद 83 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। कुछ समय से उनकी तबीयत ठीक नहीं थी और सुबह करीब 11 बजे भोपाल के एक निजी अस्पताल में उन्होंने अंतिम सांस ली। उनके निधन की खबर से सियासी गलियारों में शोक की लहर है। अजीज कुरैशी के निधन पर सियासी जमाअतों, समाजिक संगठनों ने शोक जताया है।

उल्लेखनीय है कि डॉ. अज़ीज़ कुरैशी करीब ढाई साल तक उत्तराखंड के राज्यपाल रहे। उन्होंने 15 मई 2012 को उत्तराखंड के राज्यपाल का पद ग्रहण किया था। सात जनवरी 2015 को उन्होंने विदाई ली थी। डॉ. कुरैशी के सामने दो कांग्रेसी मुख्यमंत्रियों विजय बहुगुणा और हरीश रावत ने काम किया था। उन्होनें प्रदेश में आपदा के दौरान अपनी अहम भूमिका निभाई थी।

कुरैशी ने उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और मिजोरम के राज्यपाल के रूप में कार्य किया था। कुरैशी के निधन पर उत्तराखण्ड जमीअत के प्रदेश महासचिव मौलाना शराफत कासमी, देहरादून के जिला अध्यक्ष मुफ्ति रईस अहमद कासमी, उपाध्यक्ष मास्टर अब्दुल सत्तार, मास्टर मुस्तकीम हसन ने कुरैशी के निधन पर शोक व्यक्त किया है।

अजीज कुरैशी अपने बेबाक बयानों के लिए जाने जाते रहे हैं, कुरैशी भाजपा के साथ अपनी ही पार्टी पर भी कई बार विवादित बयान देते रहे हैं। विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी की और से एमपी में नर्मदा आरती पर भी उन्होंने सवाल उठाए थे, जहां उन्होंने कांग्रेस पर मुसलमानों को दरकिनार करने और सॉफ्ट हिंदुत्व का सहारा लेने का आरोप लगाया था। इसी तरह सीहोर जिले में उन्होंने कहा था कि मुसलमान किसी का गुलाम नहीं है, उनमें सोचने समझने की क्षमता आ गई है। कुरैशी को पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी का करीबी भी कहा जाता था।