मालेगांव 2008 बम धमाका : साध्वी प्रज्ञा समेत सभी आरोपियों को नोटिस

Notices issued to all accused in the Malegaon bomb blast

नई दिल्ली। बॉम्बे हाईकोर्ट ने मालेगाँव 2008 भिक्कू चौक बम धमाका मामले में पीड़ितों की ओर से दाख़िल याचिका को सुनवाई के लिए मंज़ूर कर लिया है। अदालत ने साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर, कर्नल पुरोहित और अन्य सभी आरोपियों के साथ ही राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को भी नोटिस जारी किया है। इस मामले की अगली सुनवाई छह हफ्ते बाद होगी।

पिछले तीन दिनों से हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस और जस्टिस गौतम अंकुड़ास इस मामले की सुनवाई कर रहे थे। अदालत ने याचिकाकर्ताओं की कानूनी स्थिति और उनकी हैसियत पर सवाल किए। चीफ जस्टिस ने पूछा कि क्या उनके बयान विशेष अदालत में दर्ज हुए थे। एडवोकेट मतीन शेख और एडवोकेट शाहिद नदीम ने दस्तावेज़ और सुप्रीम कोर्ट का हालिया फैसला पेश किया। इसके बाद दो जजों की बेंच ने नोटिस जारी करने का आदेश दिया।

31 जुलाई 2025 को विशेष एनआईए अदालत ने साध्वी प्रज्ञा ठाकुर, अजय राहिकर, मेजर रमेश उपाध्याय, समीर कुलकर्णी, कर्नल पुरोहित, स्वामी सुधाकर धर द्विवेदी और सुधाकर ओंकार चित्रवेदी को बरी कर दिया था। अदालत के सामने 323 सरकारी गवाह और 8 बचाव गवाह पेश हुए। इनमें से 39 सरकारी गवाह अपने बयान से पलट गए थे। अपर्याप्त सबूतों और गवाहों के आधार पर अदालत ने सभी को बरी किया।

बम धमाके में मारे गए और घायल हुए लोगों के परिजनों, निसार अहमद, हाजी सैयद बिलाल, शेख लियाकत मोहिउद्दीन, शेख इसहाक शेख यूसुफ, उस्मान खान ऐनुल्लाह खान, मुश्ताक शाह हारून शाह और शेख इब्राहीम शेख सुपरो, ने जमीयत उलमा महाराष्ट्र (अरशद मदनी) लीगल कमेटी के ज़रिए याचिका दाख़िल की। याचिकाकर्ताओं ने बीएनएसएस की धारा 391 के तहत गवाहों को फिर से बुलाने और निचली अदालत के फैसले पर पुनर्विचार की मांग की है।

पीड़ितों ने हम पर भरोसा जताया और हमारी अनुमति से ही हाईकोर्ट में अर्जी दाख़िल हुई। अब हम देश के नामी क्रिमिनल वकीलों की सेवाएँ लेंगे और मुकदमे की पैरवी पूरी गंभीरता से करेंगे। हमें उम्मीद है कि एनआईए भी इस फैसले के खिलाफ अपील करेगी। अब हाईकोर्ट ने सभी आरोपियों और एनआईए को नोटिस जारी कर जवाब माँगा है। आरोपी अपने अधिवक्ताओं के माध्यम से या व्यक्तिगत रूप से अदालत में जवाब देंगे। एनआईए और आरोपियों की दलीलें सुनने के बाद ही हाईकोर्ट आगे का आदेश जारी करेगा।