यशपाल आर्य ने चुनाव आयोग पर साधा निशाना

Yashpal Arya targeted Election Commission

देहरादून। उत्तराखंड पंचायत चुनावों की सियासत थमने का नाम नही ले रही है, नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने निर्वाचन प्रक्रिया में कथित गड़बड़ियों पर तीखा हमला बोलते हुए कहा कि राज्य निर्वाचन आयोग और उसके अधिकारियों के निर्णय लगातार न्यायालयों में औंधे मुंह गिर रहे हैं, जिससे जनता में न्याय की नई उम्मीद जगी है।

यशपाल आर्य ने टिहरी जनपद की सकलाना की भूत्शी जिला पंचायत सीट का उदाहरण देते हुए कहा कि सीता मनवाल के नामांकन को लेकर पहले उच्च न्यायालय नैनीताल और फिर सर्वाेच्च न्यायालय ने निर्वाचन अधिकारी के फैसले को ग़लत ठहराया और सीता देवी के नामांकन को वैध माना।

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि पंचायती चुनावों में सरकार की शह और असीमित अधिकारों से लैस रिटर्निंग अफसर आयोग के ही निर्देशों की अवहेलना कर रहे हैं। ऐसे अधिकारी चुनावी प्रक्रिया में दखल देते हैं, और जानबूझकर किसी प्रत्याशी को लाभ पहुंचाने के लिए गलत निर्णय देते हैं।

यशपाल आर्य ने जोर देकर कहा कि सीता देवी के मामले में न्यायालय ने वर्ष 2000 के निर्वाचन आयोग बनाम अशोक कुमार केस के आधार पर निर्णय दिया। इस फैसले के अनुसार, अगर निर्वाचन अधिकारी का फैसला दुर्भावनापूर्ण, अवैध या मनमाना हो, तो चुनाव प्रक्रिया के बीच में भी अदालत हस्तक्षेप कर सकती है। आर्य ने 1952 के सुप्रसिद्ध पुन्नू स्वामी बनाम चुनाव आयोग के फैसले का उल्लेख करते हुए कहा कि सामान्यतः न्यायालय अधिसूचना के बाद चुनाव प्रक्रिया में हस्तक्षेप नहीं करते। लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि अब समय आ गया है जब ऐसे फैसलों का गलत लाभ उठाने वालों को न्यायिक चुनौती दी जानी चाहिए।